††“चैनलाइजेशन एवं बाढ़ सुरक्षा कार्यों पर जोर”
“संवेदनशील स्थलों का भू-वैज्ञानिक सर्वे व विस्थापन निर्देश”
देवप्रयाग/टिहरी गढ़वाल। जिलाधिकारी नितिका खण्डेलवाल की अध्यक्षता में आज जिला कार्यालय के वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कक्ष में आपदा प्रबंधन संबंधी बैठक आयोजित की गई।
बैठक में जिलाधिकारी ने सभी संबंधित विभागों को निर्देश दिए कि वे अपने-अपने क्षेत्रों में नियमित भ्रमण कर आपदा पूर्व व आपदा की स्थिति में जलस्तर की जानकारी उपलब्ध कराएं। साथ ही जहां चैनलाइजेशन एवं ड्रेजिंग की आवश्यकता है, वहां की विस्तृत रिपोर्ट तैयार कर प्रस्तुत करें।
अधिशासी अभियंता सिंचाई अनूप ड्यूंडी ने चंद्रभागा नदी में आरबीएम इकट्ठा होने तथा खारा स्रोत गदेरे के चैनलाइजेशन की आवश्यकता पर जानकारी दी। उन्होंने जौनपुर विकासखंड के ग्राम सीतापुर की बादल नदी, ग्राम भरवाकाटल की सौंग नदी, बुक्सेज खाले एवं मौंणा खाले की स्थिति से भी अवगत कराया।
अधिशासी अभियंता लघु सिंचाई बृजेश गुप्ता ने जौनपुर विकासखंड के ग्राम पंचायत घहना में बने ताल में बाढ़ सुरक्षा कार्यों के आकलन की जरूरत बताई। धनोल्टी उपजिलाधिकारी मंजू ने कुमलडा एवं टोलियाकोटी क्षेत्रों में तत्काल चैनलाइजेशन की आवश्यकता पर बल दिया। वहीं घनसाली उपजिलाधिकारी संदीप कुमार ने घुत्तू बाजार के ऊपर एवं बुढ़ाकेदार क्षेत्र में चैनलाइजेशन और बाढ़ सुरक्षा कार्य आवश्यक बताए।
जिलाधिकारी ने सभी उपजिलाधिकारियों को निर्देशित किया कि वे संवेदनशील स्थलों की पहचान कर वहां भू-वैज्ञानिक सर्वेक्षण करवाएं और आवश्यकता पड़ने पर विस्थापन की कार्यवाही सुनिश्चित करें। साथ ही चिफलती नदी से प्रभावित क्षतिग्रस्त भवनों का विस्तृत आकलन करने के भी निर्देश दिए।
बैठक में अपर जिलाधिकारी अवधेश कुमार, एसडीएम टिहरी संदीप कुमार, भूवैज्ञानिक रवि कुमार, डीडीएमओ बृजेश सहित अन्य अधिकारी वर्चुअल माध्यम से उपस्थित रहे।
